RBI Loan Recovery Guidelines – अगर आपने बैंक से लोन लिया है लेकिन किसी कारणवश EMI समय पर नहीं भर पा रहे हैं, तो आपको यह जानना जरूरी है कि बैंक को आपको परेशान करने या आपकी संपत्ति सीधा जब्त करने का अधिकार नहीं है। कई लोग यह सोचकर घबरा जाते हैं कि अगर उन्होंने लोन नहीं चुकाया तो बैंक उनकी सारी संपत्ति छीन लेगा, लेकिन ऐसा नहीं है।
इस लेख में हम आपको लोन डिफॉल्ट होने पर आपके अधिकारों के बारे में बताएंगे और यह भी समझाएंगे कि बैंक किन कानूनी प्रक्रियाओं के तहत लोन रिकवरी कर सकता है।
बैंक को पहले नोटिस देना जरूरी है
अगर आपने लगातार 90 दिनों तक लोन की EMI नहीं भरी, तो आपका लोन खाता NPA (Non-Performing Asset) घोषित कर दिया जाता है। लेकिन बैंक तुरंत आपकी संपत्ति जब्त नहीं कर सकता।
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✔️ बैंक को आपको 60 दिन का नोटिस भेजना जरूरी है।
✔️ अगर इस दौरान भी आप लोन नहीं चुका पाते हैं, तो बैंक संपत्ति की नीलामी कर सकता है।
✔️ नीलामी से पहले बैंक को 30 दिन का सार्वजनिक नोटिस देना होगा, जिसमें बिक्री की पूरी जानकारी होगी।
अगर आपको नोटिस नहीं मिला और बैंक ने सीधा कार्रवाई कर दी, तो आप कानूनी कदम उठा सकते हैं।
आपकी संपत्ति का सही मूल्य मिलना चाहिए
अगर बैंक आपकी संपत्ति बेचने का फैसला करता है, तो उसे संपत्ति का उचित मूल्य निर्धारित करना होगा।
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✔️ बैंक को पहले आपकी संपत्ति का वैल्यूएशन करवाना होगा।
✔️ आपको नीलामी से पहले संपत्ति का रिजर्व प्राइस और तारीख बतानी होगी।
✔️ अगर आपको लगता है कि संपत्ति को कम कीमत पर बेचा जा रहा है, तो आप नीलामी को चुनौती दे सकते हैं।
✔️ आप खुद भी कोई नया खरीदार ढूंढकर बैंक को सुझाव दे सकते हैं।
इसका मतलब है कि बैंक आपकी संपत्ति को किसी भी कीमत पर जबरदस्ती नहीं बेच सकता और आपको अपना पक्ष रखने का पूरा अधिकार है।
नीलामी के बाद बची हुई रकम लेने का अधिकार
अगर बैंक आपकी संपत्ति नीलाम करता है और बिक्री से लोन की पूरी रकम वसूलने के बाद भी कुछ पैसे बचते हैं, तो बैंक को वह रकम आपको वापस करनी होगी।
✔️ मान लीजिए कि आपके लोन की बकाया राशि ₹20 लाख थी, लेकिन बैंक ने आपकी संपत्ति ₹25 लाख में बेच दी, तो बचे हुए ₹5 लाख आपको मिलने चाहिए।
✔️ बैंक इस अतिरिक्त रकम को अपने पास नहीं रख सकता।
अगर बैंक बची हुई रकम नहीं लौटाता, तो आप कानूनी कार्रवाई कर सकते हैं।
बैंक आपको धमका नहीं सकता, रिकवरी एजेंट से परेशान न हों
अगर आप लोन नहीं चुका पा रहे हैं, तो बैंक आपको परेशान करने या धमकाने का अधिकार नहीं रखता।
✔️ बैंक रिकवरी एजेंट भेज सकता है, लेकिन ये एजेंट आपको डरा-धमका नहीं सकते।
✔️ ये एजेंट सुबह 7 बजे से शाम 7 बजे तक ही आपसे संपर्क कर सकते हैं।
✔️ अगर कोई एजेंट आपके साथ बदसलूकी करता है, तो आप बैंक में इसकी शिकायत कर सकते हैं।
✔️ अगर बैंक सुनवाई नहीं करता, तो आप बैंकिंग ओंबड्समैन (Banking Ombudsman) के पास शिकायत दर्ज कर सकते हैं।
अगर कोई रिकवरी एजेंट आपको धमका रहा है या परेशान कर रहा है, तो आपके पास कानूनी अधिकार हैं और आप इसकी शिकायत दर्ज कर सकते हैं।
लोन डिफॉल्ट होने पर घबराने की जरूरत नहीं!
अगर आप लोन चुका नहीं पा रहे हैं, तो सबसे पहले बैंक से संपर्क करें और अपने फाइनेंशियल हालात के बारे में बताएं।
1️⃣ बैंक आपको रीपेमेंट का नया प्लान ऑफर कर सकता है।
2️⃣ अगर आप संपत्ति बेचने की प्रक्रिया से सहमत नहीं हैं, तो आप इसे चुनौती दे सकते हैं।
3️⃣ बैंक को कानूनी प्रक्रिया का पालन करना होगा, वे आपको सीधे परेशान नहीं कर सकते।
अगर आपको बैंक से कोई भी गलत व्यवहार झेलना पड़ रहा है, तो आप कानूनी मदद ले सकते हैं और अपने अधिकारों का पूरा उपयोग कर सकते हैं।
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